अखंड ब्राह्मण सेवा समिति ने पूरे देश में मनाया वृक्षारोपण सप्ताह: पेड़ों की देखभाल का लिया संकल्प

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शिवपुरी- अखंड ब्राह्मण सेवा समिति भारतवर्ष ने देशभर में वृक्षारोपण सप्ताह का आयोजन किया। शिवपुरी इकाई ने इस अभियान में सक्रिय रूप से भाग लिया, जहाँ समिति के सदस्यों ने अपने-अपने वार्डों, तहसीलों और गाँवों में एकजुट होकर वृक्षारोपण किया। इस अवसर पर सभी ने न केवल पेड़ लगाए, बल्कि उनके बड़े होने तक उनकी देखभाल करने का भी संकल्प लिया।
जिला अध्यक्ष कैप्टन चंद्र प्रकाश शर्मा ने इस बात पर ज़ोर दिया कि केवल पेड़ लगाना ही काफ़ी नहीं है, बल्कि उनकी देखभाल करना भी उतना ही ज़रूरी है। उन्होंने कहा, "हर पेड़ फल दे यह ज़रूरी नहीं, किसी की छाया भी बड़ा सुकून देती है। पेड़ लगाकर, हम फोटो खींचकर छोड़ देते हैं, वह सुरक्षित है या नहीं, यह देखभाल नहीं करते हैं।" इसी सोच के साथ, समिति के सदस्यों ने पेड़ों की सुरक्षा और पोषण की जिम्मेदारी भी लेने का प्रण लिया। कैप्टन शर्मा ने लोगों से अपने घरों के पास, उद्यानों, सड़क किनारों, सार्वजनिक स्थानों, पहाड़ियों और निर्जन स्थानों पर ऐसे पेड़ लगाने का आग्रह किया जिनकी अच्छी तरह से देखभाल की जा सके। उन्होंने पीपल, नीम, जामुन, बरगद, अमरूद, शीशम, सागौन जैसे पेड़ों को लगाने की सलाह दी। उन्होंने पीपल वृक्ष के महत्व को बताते हुए कहा कि यह एक देव वृक्ष है जिसमें 33 कोटि देवताओं का वास रहता है और यह 24 घंटे ऑक्सीजन देता है, इसलिए इसे 'जीवन रक्षक' भी कहा जाता है।
महासचिव पंडित दिनेश चंद्र शर्मा ने नीम के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा, "नीम लगे यदि घर के पास, 100 बीमारी का हो नास।" उन्होंने नीम को स्वास्थ्यवर्धक, आरोग्यता प्रदान करने वाला, सभी प्रकार की व्याधियों को हरने वाला और 'मृत्यु लोक का कल्पवृक्ष' बताया।
महिला जिला अध्यक्ष श्रीमती कृष्णा त्रिपाठी ने पेड़ों की आवश्यकता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि वे ऑक्सीजन छोड़ते हैं और वायु की गुणवत्ता में सुधार करते हैं। उन्होंने बताया कि पेड़ों की संख्या बढ़ाने से पर्यावरण में रहने के लिए सुरक्षा बढ़ती है और वृक्षारोपण प्रदूषण कम करने में भी मदद करता है, जिससे आने वाली पीढ़ियों के लिए बेहतर भविष्य सुनिश्चित होता है।
कोषाध्यक्ष पंडित नरहरि प्रसाद अवस्थी ने वृक्षारोपण को प्रदूषण कम करने और पृथ्वी की रक्षा के लिए आवश्यक बताया। उन्होंने कहा कि आज कई देश भविष्य की पीढ़ियों के लिए सुरक्षित वातावरण बनाने हेतु वृक्षारोपण पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।
उपाध्यक्ष पंडित हरिवंश त्रिवेदी ने जलवायु परिवर्तन से निपटने में वृक्षारोपण की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि पृथ्वी को स्वच्छ और स्वस्थ बनाने के लिए हर देश को वनों की कटाई के बजाय वृक्षारोपण को प्राथमिकता देनी चाहिए।
सलाहकार कैलाश नारायण मुद्गल ने हवा में ऑक्सीजन की कमी और कार्बन डाइऑक्साइड में वृद्धि की वर्तमान समस्या को उजागर किया। उन्होंने पेड़ों को प्रकृति की ढाल बताया जो मिट्टी के कटाव और सूखे जैसी आपदाओं को रोकते हैं। उन्होंने यह भी बताया कि पेड़ का हर हिस्सा, जड़ों से लेकर तने तक, फायदेमंद होता है और हमें फल, सब्जियां, जड़ी-बूटियां और औषधियाँ प्रदान करते हैं।
 अंजना दीक्षित ने आज के युग में तेजी से बढ़ रहे पर्यावरण प्रदूषण पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने बढ़ती जनसंख्या और बड़ी इमारतों के निर्माण के कारण प्रकृति के नष्ट होने, वाहनों के धुएं, मशीनों की आवाज़ और खराब रासायनिक जल से होने वाले वायु, जल और ध्वनि प्रदूषण पर प्रकाश डाला, जिसके कारण हमें कई बीमारियों का सामना करना पड़ रहा है। उन्होंने ज़ोर दिया कि हमें वृक्षारोपण करके पर्यावरण को प्रदूषण से बचाना होगा।
इस अवसर पर जिला अध्यक्ष कैप्टन चंद्र प्रकाश शर्मा, पंडित आयुष त्रिपाठी, श्रीमती प्रभा शर्मा, महिला अध्यक्ष श्रीमती कृष्णा त्रिपाठी, श्रीमती अंजना दीक्षित, उपाध्यक्ष पंडित हरिवंश त्रिवेदी, कोषाध्यक्ष पंडित नर हरि प्रसाद अवस्थी, सलाहकार पंडित कैलाश नारायण मुद्गल, संभागीय सचिव पंडित बालमुकुंद पुरोहित, एडवोकेट वरुण शर्मा, महासचिव दिनेश चंद्र शर्मा और सचिव संजय शर्मा उपस्थित रहे।

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