शिवपुरी कोलारस नगर परिषद क्षेत्र में कचरा प्रबंधन की बदहाली को लेकर शनिवार को वार्ड क्रमांक 3 के लोगों का आक्रोश फूट पड़ा। नाराज़ नागरिकों ने नगर परिषद के कचरा वाहन को रोककर विरोध प्रदर्शन करते हुए नगरपालिका की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल उठाए।
स्थानीय रहवासियों का आरोप है कि नगर परिषद के कर्मचारी निर्धारित डंपिंग ग्राउंड की बजाय रेलवे की परित्यक्त भूमि पर कचरा निष्कासित कर रहे हैं, जो रिहायशी क्षेत्र के पास स्थित है। इससे क्षेत्र में गंभीर दुर्गंध और अस्वच्छता का माहौल बन गया है।
वार्डवासी शोभालाल जाटव ने बताया कि कचरे में आग लगाने से उठने वाला धुआं बच्चों और बुजुर्गों के स्वास्थ्य पर बुरा असर डाल रहा है। लोगों में सांस और त्वचा संबंधी रोग बढ़ रहे हैं।
गड्ढों में जमा हो रहा गंदा पानी
रहवासियों के मुताबिक, जहां कचरा फेंका जा रहा है, वहां बड़े-बड़े गड्ढे मौजूद हैं, जिनमें वर्षा का पानी भरने से गंदा जल भूमिगत जलस्तर में मिल रहा है और बोरिंग के जरिए लोगों के घरों तक पहुंच रहा है।
धार्मिक स्थल के समीप फेंका जा रहा मलबा
स्थानीय महिला सपना शिवहरे ने जानकारी दी कि एक मंदिर के निकट भी कचरा डंप किया जा रहा है, जो धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचा रहा है। उन्होंने यह भी बताया कि मृत पशुओं के शव भी इसी स्थान पर फेंके जा रहे हैं, जिससे संक्रमण फैलने की आशंका है।
शिकायतों के बावजूद प्रशासन मौन
निवासियों का कहना है कि इस संबंध में नगर परिषद कार्यालय, कलेक्टर कार्यालय और अन्य जिम्मेदार अधिकारियों को कई बार ज्ञापन सौंपा गया, मगर आज तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई। नागरिकों ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ही डंपिंग ज़ोन स्थानांतरित नहीं किया गया, तो वे आंदोलन करने को बाध्य होंगे।
प्रशासन ने जताई संज्ञान की तत्परता
इस विषय पर नगर परिषद के मुख्य नगर पालिका अधिकारी संजय श्रीवास्तव ने स्वास्थ्य कारणों के चलते अवकाश पर होने की बात कही। वहीं, कोलारस के एसडीएम अनूप श्रीवास्तव ने भरोसा दिलाया कि यदि रहवासी गंदगी और प्रदूषण से प्रभावित हो रहे हैं, तो मामले की जांच कर नगर परिषद को वैकल्पिक व्यवस्था के निर्देश दिए जाएंगे।